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GHAZAL

तुम ने भी उन से ही मिलना होता है

तुम ने भी उन से ही मिलना होता है

जिन लोगों से मेरा झगड़ा होता है

उस के गाँव की एक निशानी ये भी है

हर नलके का पानी मीठा होता है

मैं उस शख़्स से थोड़ा आगे चलता हूँ

जिस का मैं ने पीछा करना होता है

बस हल्की सी ठोकर मारनी पड़ती है

हर पत्थर के अंदर चश्मा होता है

तुम मेरी दुनिया में बिल्कुल ऐसे हो

ताश में जैसे हुकुम का इक्का होता है

कितने सूखे पेड़ बचा सकते हैं हम

हर जंगल में लक्कड़हारा होता है

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तुम ने भी उन से ही मिलना होता है — Zia Mazkoor • ShayariPage