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SHER

मैं जिसे प्यार का अंदाज़ समझ बैठा हूँ

मैं जिसे प्यार का अंदाज़ समझ बैठा हूँ

वो तबस्सुम वो तकल्लुम तिरी आदत ही न हो

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