SHER•1/2/2020दिल ना-उमीद तो नहीं नाकाम ही तो हैBy Faiz Ahmad FaizLikeShareReportHindiEnglishदिल ना-उमीद तो नहीं नाकाम ही तो हैलम्बी है ग़म की शाम मगर शाम ही तो है